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Hindi Now Uttar Pradesh • 07 Sep 2025, 05:46 pm
मुरादाबाद के कटघर थाना क्षेत्र से एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है। यहां एक 23 वर्षीय महिला ने अपने 15 दिन के दुधमुंहे बेटे को फ्रिज में रख दिया और खुद सोने चली गई। बच्चे की दादी ने रोने की आवाज सुनी तो किचन पहुंचीं। जब उन्होंने ध्यान से सुना, तो आवाज फ्रिज के अंदर से आ रही थी। तुरंत दरवाजा खोला तो नवजात भीतर पड़ा था। दादी ने घबराकर बच्चे को बाहर निकाला और परिजनों के साथ डॉक्टर के पास ले गईं। चेकअप में बच्चा पूरी तरह से सुरक्षित मिला और डॉक्टर ने उसे स्वस्थ बताया।
परिवार घर लौटा तो सबके मन में सवाल था कि आखिर बच्चा फ्रिज में कैसे पहुंचा? जब उन्होंने बच्चे की मां से पूछा तो उसने कहा कि सो नहीं रहा था, इसलिए फ्रिज में रख दिया। महिला की बात सुनकर घरवाले सन्न रह गए। उन्हें लगा कि बहू पर भूत-प्रेत का साया है। अगले ही दिन यानी 6 सितंबर को वे उसे एक तांत्रिक के पास ले गए और झाड़-फूंक कराई, लेकिन कोई फर्क नहीं पड़ा। इसके बाद रिश्तेदारों की सलाह पर उसे साइकेट्रिक डॉक्टर के पास लेकर गए। अब उसका इलाज जारी है।
दरअसल जब्बार कॉलोनी करुला निवासी महिला का पति पीतल कारीगर है। विवाह के बाद वह पति और ससुरालवालों के साथ रह रही थी। 15 दिन पहले उसने बेटे को जन्म दिया। प्रसव के बाद से ही वह पोस्टपार्टम डिसऑर्डर से पीड़ित थी, लेकिन परिवारवालों को इस बारे में जानकारी नहीं थी। समय बीतने के साथ उसकी हालत बिगड़ती चली गई और 5 सितंबर को उसने मासूम को फ्रिज में रख दिया।
सास ने जब बच्चे को बाहर निकाला और परिजनों को बताया तो वे गुस्से में बहू के कमरे में पहुंचे। उस समय वह गहरी नींद में थी। जब पति ने जगाकर पूछा कि बच्चा कहां है, तो महिला ने बिना झिझके कहा फ्रिज में है। उसके इस जवाब सभी लोग दंग रह गए। बाद में डॉक्टर कार्तिकेय गुप्ता ने जांच के बाद स्पष्ट किया कि महिला पोस्टपार्टम साइकोसिस की शिकार है। उसे अस्पताल में भर्ती कर काउंसिलिंग और इलाज शुरू कर दिया गया है। डॉक्टर का कहना है कि यह मानसिक समस्या प्रसव के बाद कई महिलाओं में देखने को मिलती है और समय पर इलाज से इसे नियंत्रित किया जा सकता है।
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