धर्मांतरण के मास्टरमाइंड छांगुर पर योगी का एक्शन! अब पुलिस ने...

Curated By: editor1 | Hindi Now Uttar Pradesh • 08 Jul 2025, 12:03 pm
news-banner
धर्मांतरण के आरोपी छांगुर के घर पर बुलडोजर चलाता प्रशासन

उत्तर प्रदेश के बलरामपुर जिले में धर्मांतरण और राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के मास्टरमाइंड माने जाने वाले जमालुद्दीन उर्फ छांगुर के खिलाफ योगी सरकार ने बड़ी कार्रवाई की है। उसे गिरफ्तार करने के बाद अब पुलिस ने उसकी आलीशान कोठी पर बुलडोजर चलवा दिया है। प्रशासन ने मंगलवार को यह कार्रवाई करते हुए उसकी संपत्ति जमींदोज कर दी। सुबह करीब 9 बजे भारी पुलिस बल के साथ प्रशासनिक अधिकारी छांगुर के मधुपुर स्थित आवास पर पहुंचे थे। इसके बाद सभी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद 10:30 बजे तोड़फोड़ शुरू कर दिया। घर का गेट बंद होने पर पुलिस ने गैस कटर मंगवाया और ताला काटकर टीम अंदर दाखिल हुई। घर के बाएं हिस्से से निर्माण गिराने की कार्रवाई शुरू की गई, जबकि दाएं ओर के दो मंजिला मकान में रह रहे लोगों को बाहर निकालने का निर्देश दिया गया।


इस कार्रवाई को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग मौके पर जमा हो गए। सोमवार शाम को ही प्रशासन ने छांगुर के घर पर बेदखली का नोटिस चस्पा किया था और चेतावनी दी थी कि सात दिन के भीतर अतिक्रमण नहीं हटाया गया तो प्रशासन स्वयं कार्रवाई करेगा। नोटिस मिलने के बाद छांगुर की कोठी में रह रहे लोगों ने नाराजगी जाहिर की। उसकी बहू साबिरा ने बाहर आकर प्रशासन पर बच्चों को डराने का आरोप लगाया। हालांकि पुलिस ने उसके आरोप को निराधार बताया। 


सिख और सिंधी समाज ने की आरोपी को फांसी देने की मांग

इस पूरे मामले में धर्मांतरण को लेकर सिख और सिंधी समाज में गहरी नाराजगी है। उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से ऐसे मामलों में कठोर कार्रवाई की मांग की है। समाज के लोगों का कहना है कि मासूम गैर-मुस्लिम लड़कियों को बहला-फुसलाकर जबरन धर्मांतरण कराने वालों को सख्त सजा मिलनी चाहिए, ताकि भविष्य में कोई ऐसी साजिश न कर सके। उन्होंने धर्मांतरण के दोषियों को फांसी देने की मांग भी की है।


छांगुर का नेटवर्क खंगाल रही एटीएस

इस बीच एटीएस छांगुर के नेटवर्क की गहन जांच में जुटी है। खासकर उसकी करीबी मानी जाने वाली नीतू नवीन रोहरा और उसके पति नवीन घनश्याम रोहरा के यूएई कनेक्शन की जांच हो रही है। रिपोर्ट के मुताबिक नीतू ने 2014 से 2019 के बीच 19 बार यूएई की यात्रा की, जबकि नवीन ने 2016 से 2020 तक उतनी ही बार यूएई का दौरा किया। ये दोनों सिर्फ एक बार साथ गए थे और अलग-अलग लौटे थे। इससे शक गहराया है कि इनका संबंध किसी अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क से हो सकता है।


दुबई की एक संस्था ने दिया धर्मांतरण का प्रमाण

दुबई की एक संस्था ने धर्मांतरण का प्रमाण भी दिया है। 16 नवंबर 2015 को अल फारुख उमर बिन कताब सेंटर में धर्मांतरण की प्रक्रिया पूरी की गई थी, जिसे दुबई सरकार ने प्रमाणित भी किया। लेकिन पासपोर्ट रिकॉर्ड्स में इनकी यात्रा की पुष्टि नहीं हो पाई, जिससे यह संदेह और गहरा गया है कि इन्होंने फर्जी नामों से पासपोर्ट बनवाए होंगे। अधिकारियों का मानना है कि यह गिरोह खाड़ी देशों के इशारे पर काम कर रहा था और इसका नेटवर्क उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों में फैला हुआ है।


यह भी पढ़ें- गोपाल खेमका हत्याकांड में बहुत बड़ी कार्रवाई, पुलिस ने किया वो.. जो आपने सोचा भी नहीं होगा!

advertisement image