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Hindi Now Uttar Pradesh • 12 Jul 2025, 11:12 am
अहमदाबाद विमान हादसे की जांच कर रहे एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की रिपोर्ट में एक अहम खुलासा हुआ है। रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी संघीय विमान प्रशासन (FAA) ने 7 साल पहले एयर इंडिया को इंजन के फ्यूल कंट्रोल स्विच को लेकर एक महत्वपूर्ण सलाह दी थी, लेकिन एयर इंडिया ने इसे केवल 'सलाह' मानकर नजरअंदाज कर दिया। अगर एयर इंडिया ने साल 2018 में अमेरिकी विमानन एजेंसी की सलाह मान ली होती और इसे गंभीरता से लिया होता तो शायद अहमदाबाद में हुआ भीषण विमान हादसा टल सकता था।
दरअसल, FAA ने 17 दिसंबर 2018 को एक स्पेशल एयरवर्थीनेस इंफॉर्मेशन बुलेटिन (SAIB) नंबर NM-18-33 जारी किया था। इस बुलेटिन में यह आशंका जताई गई थी कि बोइंग 737 मॉडल के कुछ विमानों में फ्यूल कंट्रोल स्विच का लॉकिंग फीचर निष्क्रिय हो सकता है। यह चेतावनी अन्य विमान ऑपरेटरों से मिली रिपोर्ट के आधार पर दी गई थी। उनमें कहा गया था कि स्विच कभी-कभी अनजाने में बंद हो जाता है। हालांकि FAA ने यह नहीं माना कि यह स्थिति विमान की उड़ान के लिए सीधे तौर पर असुरक्षित है, इसलिए कोई बाध्यकारी (Airworthiness Directive-AD) जारी नहीं किया गया।
चेतावनी के बावजूद लापरवाही
FAA की इस चेतावनी के बावजूद एयर इंडिया ने इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया। कंपनी ने यह तर्क दिया कि FAA की यह सलाह अनिवार्य नहीं थी, इसलिए फ्यूल कंट्रोल स्विच का निरीक्षण नहीं कराया गया, लेकिन अब हादसे की जांच में स्पष्ट हुआ है कि अहमदाबाद में दुर्घटनाग्रस्त हुए विमान में वही स्विच लगा था, जिसकी कार्यप्रणाली पर पहले से संदेह जताया गया था। AAIB की रिपोर्ट बताती है कि दुर्घटनाग्रस्त विमान में टेकऑफ के कुछ ही पलों बाद दोनों इंजन के फ्यूल कंट्रोल स्विच एक-एक कर बंद हो गए थे, जिससे इंजन बंद हो गए और विमान कुछ ही सेकंड में गिरकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हादसे में 270 से अधिक लोगों की जान चली गई। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि एयर इंडिया ने उस समय FAA की चेतावनी को गंभीरता से लेते हुए उपकरणों की जांच कराई होती तो संभवतः यह भीषण हादसा टल सकता था।
हादसे की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट आई सामने
अहमदाबाद में हुए प्लेन हादसे को लेकर एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) ने एक महीने बाद अपनी प्रारंभिक जांच रिपोर्ट जारी की है। यह रिपोर्ट 12 जुलाई को सार्वजनिक की गई है। इसमें 15 पन्नों में हादसे के शुरुआती कारणों का विश्लेषण किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक यह हादसा विमान के दोनों इंजन अचानक बंद होने से हुआ है। टेकऑफ के कुछ ही पलों के बाद दोनों फ्यूल स्विच एक-एक सेकेंड के अंतराल में बंद हो गए। इससे दोनों इंजन भी बंद हो गए और विमान तेजी से नीचे गिरकर क्रैश हो गया।
कॉकपिट की वॉइस रिकॉर्डिंग आई सामने
कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर में रिकॉर्ड बातचीत से यह सामने आया कि पायलट भी इस स्थिति से हैरान थे। एक पायलट ने दूसरे से पूछा कि क्या उसने फ्यूल स्विच बंद किए हैं? इस पर दूसरे ने इनकार किया और कहा कि नहीं, मैंने बंद नहीं किए। इससे साफ है कि इंजन फेरियर की यह स्थिति अचानक और अनजाने में हुई। 12 जून को अहमदाबाद से लंदन जा रही एयर इंडिया की फ्लाइट AI 171 टेकऑफ के तुरंत बाद एक मेडिकल हॉस्टल की इमारत से टकरा गई थी। इस हादसे में 270 लोगों की मौत हो गई। इनमें 241 यात्री और क्रू मेंबर शामिल थे। इस भीषण दुर्घटना में केवल एक यात्री जीवित बच सका है।
दोबारा इंजन शुरू करने की कोशिश, मगर असफल
जांच रिपोर्ट के अनुसार इंजन बंद होने के बाद पायलटों ने स्विच को ऑन करके इंजन दोबारा शुरू करने की कोशिश की थी, लेकिन विमान बहुत कम ऊंचाई पर था और समय बहुत कम था। ऐसे में इंजन दोबारा पूरी ताकत से शुरू नहीं हो सके और विमान हादसे का शिकार हो गया। हालांकि अब तक यह साफ नहीं हो सका है कि फ्यूल स्विच अपने आप कैसे बंद हुए। फ्यूल स्विच बंद कैसे हुए, यह एक बड़ा सवाल है और चौंकाने वाली बात है। यह तकनीकी खामी थी या सिस्टम की गलती, इस पर अभी जांच जारी है।
केवल 30 सेकेंड में ही विमान गिरा नीचे
रिपोर्ट में बताया गया है कि टेकऑफ से लेकर दुर्घटना तक विमान केवल 30 सेकेंड ही हवा में रहा। इस दौरान विमान ने अधिकतम 180 नॉट्स की गति हासिल की थी। रिपोर्ट में यह भी उल्लेख है कि Boeing 787-8 मॉडल और GE GEnx-1B इंजन को लेकर किसी विशेष सुरक्षा चेतावनी की आवश्यकता नहीं पाई गई है। रिपोर्ट में मौसम, बर्ड-हिट या किसी तरह की तोड़फोड़ या आतंकी गतिविधि जैसे कारणों की भी पुष्टि नहीं हुई है। फिलहाल दुर्घटना का प्रमुख कारण तकनीकी गड़बड़ी और इंजन फेल्योर को माना जा रहा है, जिसकी विस्तृत जांच अभी जारी है।
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